ये बातें कुछ लोगों को घिनौनी और अजीब लग सकती हैं, लेकिन जिनको ये क्रियाएं ठीक लगती हैं उनके लिए ये यौन सुख के अनुभव को और भी आनंदमयी बना सकती हैं। लेकिन कैसे ? और क्या ये क्रियाएं सुरक्षित हैं? और क्या यह आपके लिए फिट है भी या नहीं, इसके लिए ज़रूरी है कि आप इनसे जुड़ी छोटी से छोटी चीज़ को भी गहराई से समझे।
अगर दोनों राज़ी हैं तभी करें!
सबसे पहले यह जान लेना ज़रूरी है कि सेक्स से जुड़ी किसी भी प्रकार की एक्टिविटी में पार्टनर की सहमती होना ज़रूरी है । सेक्स से जुड़ी कोई भी क्रिया को करने के लिए दोनों पार्टनर की सहमति चाहिए। यदि एक भी पार्टनर तैयार नहीं है या ऐसी कोई गतिविधि करने में संकोच कर रहा है, तो दूसरे साथी को उसे इसके लिए मजबूर नहीं करना चाहिए और अपने पार्टनर के निर्णय का सम्मान करना चाहिए।
प्रीकम और योनि से निकलने वाले तरल पदार्थ
पुरुषों के लिंग से निकलने वाला लिक्विड जिसका मुख्य काम चिकनाई बढ़ाना है ओरल सेक्स के दौरान आमतौर पर मुँह के अंदर जाता है। इसी तरह फोरप्ले या सेक्स से ठीक पहले महिलाओं की योनि से निकलने वाले तरल को भी मुंह के अंदर जा सकता है। हालांकि अगर आप एक दूसरे की सेक्स लाइफ और उनके स्वास्थ्य के बारे में नहीं जानते हैं तो ऐसा करने से आपको एसटीआई और एसटीडी (यौन रोग) का जोखिम हो सकता है। मगर यदि आपको अपने पार्टनर के यौन स्वास्थ्य के बारे में स्पष्ट जानकारी है तो ये जान लें कि प्रीकम या योनि से निकलने वाले तरल हानिकारक नहीं हैं। फिर भी हम आपको यही सलाह देंगे कि जब आप सेक्स कर लें तो किसी अनचाहे संक्रमण से बचने के लिए मुंह को अच्छे से कुल्ला करके धोएं और ब्रश भी कर लें.
वीर्य (Semen)
अगर दोनों पार्टनर को एसटीआई/यौन रोग नहीं है और हाल फिलहाल में ही उन्होंने इसका टेस्ट कराया हो, साथ ही उनके कई पार्टनर के साथ यौन संबंध ना हों और उनकी सहमति हो, तो ऐसे में वीर्य पीना सुरक्षित है।
कुछ प्रोटीन के अलावा, वीर्य में जिंक क्लोराइड, सोडियम साइट्रेट, लैक्टिक एसिड, कैल्शियम, मैग्नीशियम और पोटेशियम जैसे घटक होते हैं, इसके अलावा हार्मोन एस्ट्रोन, एंडोर्फिन, प्रोलैक्टिन, सेरोटोनिन और ऑक्सीटोसिन होते हैं, जिनका सेवन करना सेहत के लिए फायदेमंद भी हो सकता है।
मगर यदि कोई व्यक्ति यौन संचारित बीमारी या किसी भी संक्रमण से पीड़ित है तो इस तरल में भी वही संक्रमण होगा, जिसमें एचआईवी भी शामिल है। ऐसे में वीर्य को पीना या निगलना असुरक्षित सेक्स की श्रेणी में गिना जायेगा। तो अगर आपके पार्टनर को एसटीआई और बैक्टीरियल संक्रमण जैसे कि गोनोरिया या क्लाइमेडिया है, तो उसका वीर्य पीने से यह आपको होने का खतरा भी है।
हर्पीस से पीड़ित किसी व्यक्ति से भी वीर्य के माध्यम से संक्रमण दूसरे व्यक्ति में पहुँच सकता है। हर्पीस त्वचा को प्रभावित करने वाला एक संक्रमण है.
कुछ लोगों को वीर्य से एलर्जी भी हो सकती है। इस एलर्जी को सेमिनल प्लाज्मा हाइपरसेंसिटिविटी कहा जाता है।
स्तनों का दूध
अब स्तनों का दूध अपने पार्टनर को पिलाना है या नहीं, यह तो स्तनपान कराने वाली महिला की सहजता या कम्फर्ट लेवल पर निर्भर करता है। जिस तरह बच्चे के लिए स्तन का दूध फायदेमंद होता है, उसी तरह आपके पार्टनर के सेहत के लिए भी स्तन का दूध फायदेमंद है। ऐसा करना स्तनपान कराने वाली महिला के लिए भी फायदेमंद होता है क्योंकि इससे स्तन में अधिक दूध जमा नहीं होता है और दर्द से भी बचाव होता है। इसके साथ ही नलिकाएं ब्लॉक नहीं होती हैं और दूध की आपूर्ति अधिक तेजी से हो सकती है।
इसके अलावा, यदि आपके बच्चे को एक स्तन का दूध पसंद है तो दूसरे स्तन से दूध को निकालने में आपके साथी की भूमिका एक पंप का उपयोग करने से अधिक संतोषजनक और मजेदार हो सकती है।
इन फायदों के अलावा, यह अंतरंगता को बढ़ाने में भी मदद करता है और स्तनपान कराने वाले साथी को स्तनपान प्रक्रिया में शामिल महसूस कराता है जो आमतौर पर मां और उसके बच्चे को भावनात्मक तौर पर जोड़ने वाली एक प्रक्रिया है।
आप अपने साथी को स्तनपान में जब तक चाहें लिप्त कर सकती हैं, बशर्ते आप कुछ समस्याओं जैसे कि स्तनों में ब्लॉकेज, निप्पल में दर्द (दांत लगने से स्थिति और बदतर हो सकती है) या मास्टिटिस (संक्रमण के कारण स्तन के ऊतकों की सूजन) से ग्रसित नहीं है।
पेशाब
पेशाब पीने से कई तरह के जोखिम हो सकते हैं। लोगों में ऐसी लोकप्रिय धारणा है कि पेशाब जीवाणु रहित (Sterile) होता है जबकि ऐसा नहीं है। यह बैक्टीरिया से दूषित हो सकता है और इसमें सोडियम, यूरिया, क्रिएटिनिन और पोटेशियम की अधिक मात्रा होती है - यदि इसका सेवन करने वाला व्यक्ति हाइड्रेटेड नहीं है तो ये सभी किडनी पर दबाव डाल सकते हैं। इसके अलावा, यदि कोई व्यक्ति कुछ दवाएं ले रहा है, तो उसके पेशाब में दवा में मौजूद केमिकल हो सकते हैं, जो कि इसका सेवन करने वाले के लिए असुरक्षित हो सकता है।
कुल मिलाकर कहने का तात्पर्य यह है कि, ऐसी किसी भी चीज का सेवन करना जो शरीर के द्वारा वेस्ट (waste ) के तौर पर बाहर निकाली गई हो वो आपके लिए सुरक्षित नहीं है।
गोल्डेन शॉवर
पार्टनर के ऊपर पेशाब करने को गोल्डेन शॉवर या पिस प्ले कहा जाता है।
गोल्डन शावर सुरक्षित होता है और यह यौन उत्तेजना को बढ़ा सकता है और जिन्हें यह मजेदार लगता है उनमें ऑर्गेज्म भी बढ़ा सकता है। इससे आमतौर पर स्वास्थ्य को तो कोई खतरा नहीं, मगर हमारी सलाह रहेगी कि स्वच्छता के लिए ऐसा करने के बाद अच्छे से नहा लें।
पीरियड (माहवारी) में निकलने वाला खून
पीरियड के खून की महक कई लोगों को उत्तेजित कर सकती है लेकिन इसके सेवन का निर्णय हल्के में नहीं लिया जाना चाहिए क्योंकि यह हमारे शरीर में बहने वाले रक्त के समान नहीं है। पीरियड ब्लड में एंडोमेट्रियल लाइनिंग, कोआगुलेटिंग तत्व और योनि स्राव के साथ-साथ बैक्टीरिया होते हैं जो कि उस दौरान नम वातावरण के कारण गर्भाशय ग्रीवा और योनि में पैदा होते हैं।
पीरियड के खून को पीने से रक्तजनित रोगजनक (blood borne pathogens) जैसे, कि संक्रामक बैक्टीरिया या वायरस को आपके शरीर में भेज सकती है। अगर माहवारी के दौरान आपका पार्टनर ओरल सेक्स करना चाहता है तो डैम जैसे सुरक्षा का उपयोग करना सबसे अच्छा है।
मोटा मोटा यह कहना ठीक होगा की ओरल सेक्स के दौरान मासिक धर्म के खून को मुंह के संपर्क से दूर ही रखें तो बेहतर होगा।
मल
मल में साल्मोनेला, शिगेला, कैम्पिलोबैक्टर और ई. कोलाई जैसे बैक्टीरिया मौजूद होते हैं। ये सभी आपको बीमार कर सकते हैं, जिससे दस्त, उल्टी, मतली और बुखार जैसे लक्षण हो सकते हैं। यह हेपेटाइटिस ए और ई जैसे परजीवी और वायरस के फैलने के जोखिम को बढ़ा सकते हैं।
इसीलिए एनीलिंगस (ओरल एनल सेक्स) के दौरान भी डेंटल डैम या कॉन्डोम जैसे बैरियर का इस्तेमाल करना चाहिए। इससे जोखिम कम होता है।
निष्कर्ष
इनमें से कई सारी चीजें लोगों को सेक्स का आनंद लेने में मदद कर सकती हैं। कई लोग बेहिचक इन चीजों का इस्तेमाल करते हैं। लेकिन सेक्स के मजे के साथ ही सेहत की सुरक्षा भी जरूरी है। आपको जो अच्छा लगे, बेझिझक करें। लेकिन हमेशा स्वास्थ्य सुरक्षा और अपने पार्टनर की सहमति को प्राथमिकता दें।
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आरुषि चौधरी एक फ्रीलैंस पत्रकार और लेखिका हैं, जिन्हें पुणे मिरर और हिंदुस्तान टाइम्स जैसे प्रिंट प्रकाशनों में 5 साल का अनुभव है, और उन्होंने डिजिटल प्लेटफॉर्म और प्रिंट प्रकाशनों के लिए लगभग एक दशक का लेखन किया है - द ट्रिब्यून, बीआर इंटरनेशनल पत्रिका, मेक माय ट्रिप , किलर फीचर्स, द मनी टाइम्स, और होम रिव्यू, कुछ नाम हैं। इतने सालों में उन्होंने जिन चीजों के बारे में लिखा है, उनमें से मनोविज्ञान के प्रिज्म के माध्यम से प्यार और रिश्तों की खोज करना उन्हें सबसे ज्यादा उत्साहित करता है। लेखन उनका पहला है। आप आरुषि को यहां ट्विटर पर पा सकते हैं।