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बॉयफ्रेंड नहीं, मेरा रात का साथी 

द्वारा Rusell Peters फरवरी 26, 09:58 पूर्वान्ह
सोनिया कॉलेज से विनोद के साथ थीI जब उसने विनोद से तलाक लिया तो मानो उसकी पूरी दुनिया ही उजड़ गयीI इस बात को तीन साल बीत चुके हैं। सोनिया ने लव मैटर्स को बताया कि कैसे राघव की मदद से उसकी ज़िंदगी में प्यार और खुशी लौट आयी हैI लेकिन राघव उसका नया ब्वॉयफ्रेंड नहीं है।

सोनिया 28 साल की हैं और पेशे से सॉफ्टवेयर इंजीनियर हैं।

परियों की कहानी जैसी ज़िंदगी

मेरे माता-पिता पेशे से न्यूरोसर्जन हैंI मुझे बचपन से ही बेहद लाड-प्यार से पाला थाI मेरी हर ज़रुरत का ख्याल रखा गया था और मैंने भी उनकी हर मांग को अपने सर आँखों पर रखा थाI मैं स्कूल में ऑल राउंडर थी और एक अच्छी डांसर भी थी। कॉलेज के वार्षिक समारोह में मैं विनोद से मिली, वह एक पारंगत डांसर और मेरा सीनियर भी था।

मुझे वो दिन आज तक याद है जब मैनें पहली बार उसका डांस देखा था। एक मिनट के लिए भी मेरी नजरें उसपर से नहीं हटी थी। मैंने स्टेज के पीछे जाकर उसकी तारीफ़ की और कहा कि मुझे उसका डांस बहुत पसंद आया। जान कर वो बहुत खुश हुआ और पूछा कि मेरी परफॉर्मेंस कब हैI

मैं एकल प्रदर्शन कर रही थी जिसे देखने के लिए विनोद वहीँ रुका रहाI उसके बाद उसने स्टेज के पीछे आकर मेरी तारीफों के पल बांधें और मेरा नंबर भी ले लियाI जल्दी ही हम दोनों एक दुसरे को डेट कर रहे थेI चूंकि हम दोनों अच्छे डांसर थे, शायद इसीलिए अपने कॉलेज में हम एक 'मशहूर कपल' बन गए थेI धीरे धीरे एक साल बीत गया और हम दोनों ने एक दूसरे के घर जाना भी शुरू कर दिया थाI सभी को यही विश्वास था कि हम दोनों एक दूसरे से शादी करेंगेI एक दिनन हमारे माता-पिता ने हमसे पूछा कि क्या हम शादी करना चाहते है और देखते ही देखती अगले छः महीनों में हम शादी के बंधन में बांध चुके थेI

कड़वा अनुभव

अब सोचती हूँ तो एहसास होता है कि शायद शुरू से ही कुछ कमी रह गयी थीI शादी के बारे में बातें हमारे माँ- बाप के बीच में न होकर अगर हम दोनों के बीच शुरू होती तो शायद बेहतर होताI जल्द ही हम दोनों को यह समझ आ गया था कि हम दोनों जितना अच्छा साथ में नाचते हैं, शायद जीवनसाथी के रूप में उतने अच्छे नहीं हैं।

विनोद को पुणे में जॉब मिल गयी और मैं भी उसके साथ पुणे आ गईI मेरी भी एक आईटी फर्म में नौकरी लग गयी थीI शादी के बाद के कुछ महीनों में ही मेरी आंखें खुल गई थी। विनोद के व्यक्तित्व के दूसरे पहलू को मैं शादी से पहले नहीं पहचान पायी थी। वह घर को साफ़ रखना पसंद नहीं करता था, बहुत अधिक पैसे उड़ाता था और किसी भी बात को गंभीरता से नहीं लेता थाI फ़िर चाहे वो बात उसके कैरियर को लेकर हो या उसकी सेहत को लेकर। वो हर रोज़ बाहर खाना चाहता थाI

शायद हम दोनों बदल गये थे या फ़िर शायद हम एक दूसरे को सही तरीके से समझ ही नहीं पाये थे। हम दोनों के बीच कुछ भी ठीक नहीं चल रहा था और हमने शादी के एक साल के भीतर ही इस रिश्ते को खत्म करने का फैसला कर लिया। मैं अपने मम्मी-पापा के घर वापस आ गई और तय किया कि अभी अपने लिए जॉब नहीं खोजूंगी और कुछ समय खुद को दूंगी। एक साल के भीतर ही इस रिश्ते को खत्म कर देने से मैं अंदर से काफ़ी टूट गई थी। मैंने अपने आपको घर में बंद करके रख लिया।

ताज़ी हवा का झोंका

मेरे मम्मी-पापा ने मेरे मूड को बदलने की हर संभव कोशिश की। उन्होंने मुझे छुट्टियों में बाहर ले जाने की भी कोशिश की लेकिन मैं कहीं भी नहीं जाना चाहती थीI एक दिन हमें एक शादी में जाने का निमंत्रण मिला और मेरे मम्मी-पापा ने मुझे भी साथ चलने के लिए कहा। मेरे एक नज़दीकी चेचेरे भाई की शादी थी तो मैंने भी खुद को किसी तरह तैयार किया और मम्मी-पापा के साथ शादी में चली गई। वहां मैं अपने पापा के बचपन के दोस्त के बेटे राघव से मिली। जब मैं छोटी थी तो राघव के साथ खेला करती थी। राघव अब पहले से अधिक आकर्षक दिखता था।

उसने अंदाजा लगा लिया था कि मेरे साथ कुछ गलत हुआ है और उसने मुझसे इसके बारे में पूछा। मैं पूरी तरह खुल गई और मैंने उसे बता दिया कि मेरी शादी एक साल के भीतर ही टूट गई। उसने मेरा हाथ पकड़ लिया और मुझे चुपचाप रोने दिया।

अगले दिन राघव मेरे घर के दरवाजे पर मुझे साम्बा क्लासेज पर ले जाने के लिए खड़ा थाI हालांकि मैं उसकी इस हरकत पर आश्चर्यचकित और परेशान थी लेकिन मैंने उसे मना नहीं किया क्योंकि पिछली रात को उसने मेरा खूब ख्याल रखा थाI

मेरा आधी रात के बाद वाला दोस्त

उस दिन के बाद से राघव मेरा वह दोस्त बन गया जिससे आधी रात के बाद भी बात की जा सकती थी। हम दोनों ट्रेकिंग, तैराकी, फिल्में और यहां तक कि कॉफी पीने भी जाने लगे। मैंने उसका जिम भी ज्वॉइन कर लिया था और अपने वजन को कम करने के लिए वर्कआउट भी करने लगी थी। शादी के बाद से मेरा वजन बढ़ गया था। मैंने कई आईटी फर्म में जॉब के लिए अप्लाई किया और अंत में मेरी पसंद की एक नौकरी मुझे मिल गई।

बाहर के लोग और यहां तक कि मेरे मम्मी-पापा भी मुझे और राघव को एक कपल के रूप में देखते थे। लेकिन हम दोनों सिर्फ़ दोस्त थे जो एक साथ होने पर खूब मस्ती किया करते थे। उसने मुझे अपने गर्लफ्रेंड के साथ चार साल तक रहने के बाद उसके साथ ब्रेकअप के बारे में भी मुझे बताया और यह भी बताया कि वह कुछ समय तक किसी के साथ रिलेशनशिप में नहीं रहना चाहता है। फ़िर भी मैंने टिंडर पर उसका एक अकाउंट बनाया और दो लड़कियों के साथ उसकी डेट तय की। लेकिन वह दोनों बहुत खतरनाक निकलीं और इस बात को लेकर हम दोनों हफ्तों तक हंसते रहे।

दोबारा खुशी

एक दिन जब हम दोनों कॉफी पीने गए थे तब वहां राघव का एक दोस्त भी मिलाI उसने अपना परिचय देते हुए मुझसे कहा कि मैं समीर हूं और सोनिया  मैंने तुम्हारे बारे में बहुत सुना हैI मुझे समीर बहुत अच्छा लगा था और शायद यह बात राघव ने भांप ली थीI

वह एक कॉल के बहाने कॉफी शॉप से बाहर निकल आया। कुछ मिनट के बाद मुझे उसके फ़ोन से एक मैसेज मिला, जिसमें लिखा था..समीर के साथ डेट का आनंद लो।

अब मैं दो महीने से समीर को डेट कर रही हूं लेकिन राघव के साथ मेरी दोस्ती पर इसका कोई प्रभाव नहीं पड़ा है। अब मैं और समीर, उसके लिए डेट फिक्स करने की कोशिश में लगे हैं और उन लड़कियों से मिलकर राघव जो हरकतें करता हैं उन पर हम तीनों एक साथ हंसते हैं।

तस्वीर के लिए मॉडल का इस्तेमाल किया गया है

नाम बदल दिए गए हैं

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अभी तक तो मुझे ऐसा कोई दोस्त नहीं मिला. पर जिंदगी में मैने भी दिल जोडने वाला ऐसा काम किया है जिसकी मुझे खुशी हुई है कि मैं अपना दिल कही नही जोड पाया पर किसी और को तो मिलाया है जिसके कारण मैं उस खुदा के सामने मूस्कूराहट से खडा हो सकूं
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