केरेला में 'Kiss of Love' विरोध ने भारत में सामजिक स्थानों पर प्रेम प्रदर्शन के मुद्दे को बहुत चर्चित कर दियाI मुंबई और दिल्ली में कई युगलों ने इस विरोध का समर्थन भी कियाI कुछ लोगों का मानना है की ये विरोध बस यही खत्म हो जायेगा उर कुछ लोगों का मानना है क ये विरोध अभी बस एक शुरुवात हैI
तो लव मैटर्स ने पोछा मुंबई के कुछ युगलों से की आखिर वो इस चुम्बन के मुद्दे पर क्या सोच रखते हैं - ऐसा करना सही है या गलत? और हमें मिले कुछ ऐसे जवाब:
"हाँ, ये ठीक है, आखिर उनकी पसंद की बात है!"
"चुम्बन ठीक है, जब तक की वो पोरर्इ तरह एक दूसरे में घुस ही ना जाएंI"
"ये उनके प्यार जताने का तरीका है - तो इसमें बुराई क्या है?"
"कई बार मेरे भतीजा-भतीजी मुझसे ये सवाल पूछते हैं. तब मुझे थोड़ा अजीब लगता हैI"
... और भी बहुत कुछI ये वीडियो यहाँ देखिये और फेसबुक और ट्विटर पर शेयर करियेI
गायत्री परमेस्वरन एक बहु-पुरस्कार विजेता लेखक, निर्देशक और इमर्सिव मीडिया कार्यों की निर्माता हैं। वह भारत में पैदा हुई और पली-बढ़ी और वर्तमान में बर्लिन में रहती है, जहां उन्होंने NowHere Media की सह-स्थापना की - एक कहानी सुनाने वाला स्टूडियो जो समकालीन मुद्दों को एक महत्वपूर्ण लेंस के माध्यम से देखता है। उन्होंने अपने शुरुआती वर्षों में लव मैटर्स वेबसाइट का संपादन भी किया। उनके बारे में यहाँ और जानें।