आंटीजी कहती हैं...हेल्लो बिलाल पुत्तर! दिल्ली की सर्दी के क्या हाल हैं? इस बार की ठण्ड ने तेरी आंटी की तो खटिया खड़ी कर दी।
बिलाल बेटा, ज़्यादातर पुरुष इस्सी समस्या का सामना करते हैं। तो इस बारे में सोच के खुद के दिमाग तो मत थक। तू ऐसा अकेला आदमी नहीं है!ना बेटा, मैं तुझे झूठी तस्सल्ली देने के लिए ऐसा नहीं कह रही। अमरीका के हाई फाई रिसर्च वालों ने ये पाया हाई
की कम से कम हर 20 पुरुषों में से एक पुरुष शीघ्रपतन की समस्या झेलता है। होता रहता है मेरे बेटे। एक चौथाई पुरुषों का स्खलन उनकी चाहने से पहले ही हो जाता है। समस्या सिर्फ इतनी है की लोग इसके बारे में बात करने में शरमाते हैं। खासकर आजकल के युवा इस बात की दिमाग के पिंजरे में बंद करके बैठे रहते हैं।
उस से बात कर
इसीलिए मुझे इस बात की बड़ी ख़ुशी है की कम से कम तूने अपनी समस्या को मेरे साथ शेयर तो किया। इस से ज्यादा ज़रूरी है की तू अपनी साथी से इस के बारे में बात ज़रूर करे।
एक और रिसर्च के मुताबिक 60% लड़कियों को इस समस्या की कोई जानकारी ही नहीं होती। और अगर उनसे बात ना की जाये तो हो सकता है की ना चाहते ही भी वो कुछ गलत राय बना लें। इस सब से बेहतर है की तू अपनी साथी को इस समस्या की जानकारी दे दे और समस्या का हल साथ में ढूंढे।
स्टार्ट-स्टॉप एक्सरसाइज
मेरे प्यारे पुत्तर, पता नहीं तूने इस बारे में सुना है या नहीं। सेक्स विशेषज्ञ सेक्स के दौरान क्लाइमेक्स से पहले 10 - 30 सेकण्ड्स के लिए रुकने की सलाह देते हैं। यह बेहद असरदार नुस्खा है। इसके बाद जब क्लाइमेक्स वाली फीलिंग थोड़ी सी कम हो तो फिर से शुरू करो और इस प्रोसेस को रिपीट करो। कुछ बार दोहराने के बाद स्खलन हो जाने दो।
साथ ही तुझे ये बता दूँ की ये काफी मज़ेदार प्रक्रिया है और साथ ही सेक्स की अवधि बढाने का बेजोड़ तरीका भी। इस एक्सरसाइज से तुम्हे स्खलन पर कण्ट्रोल करने में ज़रूर मदद मिलेगी। तो अगर तुम इस एक्सरसाइज को अपनाने के लिए तैयार हो तो तुम जितना चाहे अपने क्लाइमेक्स को डिले कर सकते हो, यानी चरम तक पहुचने की अवधि को बाधा सकते हो।
ट्रीटमेंट प्रोग्राम
अगर इस तरीके से भी बात ना बने तो भी मायूस होने की ज़रूरत नहीं है। सेक्स विशेषज्ञ की सलाह लेना कोई पाप नहीं है। इसमें कोई शर्म की बात नहीं है. जैसा की मैंने पहले कहा, ये एक आम समस्या है और इसीलिए इसके कई उपचार हैं। तुम बच्चों के ज़माने में टेक्नोलोजी ने काफी तरक्की कर ली है।
अभी कुछ दिन पहले मैंने एक इलेक्ट्रॉनिक उपकरण के बारे में पढ़ा था जो शीघ्रपतन के निवारण का बहुत कारगर तरीका साबित हो रहा है। इस मशीन का नाम 'प्रोलोंग' है। मेरी गिरती हुई याददाश्त के चलते मुझे सारी डिटेल्स तो याद नहीं लेकिन इसका कोई साइड इफ़ेक्ट नहीं है।
(आंटीजी के लिए सब कुछ यद् रखना चाहे संभव ना हो सका हो, लेकिन लव मैटर्स इस विषय पर जल्दी ही और जानकारी प्रकाशित करेंगे)
उसे प्लेज़र दो
एक और बात बेटाजी, अपनी साथी के प्लेज़र का ध्यान रखना बहुत ज़रूरी है। अन्तरंग प्यार के तरीके सम्भोग के अलावा भी हैं। सच तो ये है की केवल एक तिहाई महिलाएं ही सम्भोग के ज़रिये क्लाइमेक्स तक पहुँच पाती हैं। तो सिर्फ शारीर को सुख देने के लिए सिर्फ लिंग के इस्तेमाल तक ही सीमित मत रहो। अपनी जीभ, उँगलियों और कल्पनाओं की मदद भी लेनी चाहिए! उसे पूछो की उसे क्या पसंद है।
मुझे भरोसा है की सेक्स के हर पहलु को महसूस करके, स्टार्ट-स्टॉप टेक्नीक की मदद से तुम्हे ज़रूर फायदा होगा। मैं पहले कई बार कह चुकी हूँ की स्ट्रेस इन् सभी परेशानियों को और बढ़ावा देती है। तो मेरी सलाह है की आराम से रहो, दिमाग पर इन् छोटी बातों का दबाव मत डालो और जल्द ही सब ठीक हो जायेगा।
फोटो: Auntyji, thinqkreations
आप इस मुद्दे पर क्या राय देंगे? यहाँ लिखिए या फेसबुक पर हो रही चर्चा में भाग लीजिये।
अगर आपको प्यार, सेक्स या रिश्तों से जुडे किसी भी मुद्दे पर आंटी जी की सलाह चाहिए तो ईमेल करिए।
आंटीजी कहती हैं...हेल्लो बिलाल पुत्तर! दिल्ली की सर्दी के क्या हाल हैं? इस बार की ठण्ड ने तेरी आंटी की तो खटिया खड़ी कर दी।
बिलाल बेटा, ज़्यादातर पुरुष इस्सी समस्या का सामना करते हैं। तो इस बारे में सोच के खुद के दिमाग तो मत थक। तू ऐसा अकेला आदमी नहीं है!ना बेटा, मैं तुझे झूठी तस्सल्ली देने के लिए ऐसा नहीं कह रही। अमरीका के हाई फाई रिसर्च वालों ने ये पाया हाई
की कम से कम हर 20 पुरुषों में से एक पुरुष शीघ्रपतन की समस्या झेलता है। होता रहता है मेरे बेटे। एक चौथाई पुरुषों का स्खलन उनकी चाहने से पहले ही हो जाता है। समस्या सिर्फ इतनी है की लोग इसके बारे में बात करने में शरमाते हैं। खासकर आजकल के युवा इस बात की दिमाग के पिंजरे में बंद करके बैठे रहते हैं।
उस से बात कर
इसीलिए मुझे इस बात की बड़ी ख़ुशी है की कम से कम तूने अपनी समस्या को मेरे साथ शेयर तो किया। इस से ज्यादा ज़रूरी है की तू अपनी साथी से इस के बारे में बात ज़रूर करे।
एक और रिसर्च के मुताबिक 60% लड़कियों को इस समस्या की कोई जानकारी ही नहीं होती। और अगर उनसे बात ना की जाये तो हो सकता है की ना चाहते ही भी वो कुछ गलत राय बना लें। इस सब से बेहतर है की तू अपनी साथी को इस समस्या की जानकारी दे दे और समस्या का हल साथ में ढूंढे।
स्टार्ट-स्टॉप एक्सरसाइज
मेरे प्यारे पुत्तर, पता नहीं तूने इस बारे में सुना है या नहीं। सेक्स विशेषज्ञ सेक्स के दौरान क्लाइमेक्स से पहले 10 - 30 सेकण्ड्स के लिए रुकने की सलाह देते हैं। यह बेहद असरदार नुस्खा है। इसके बाद जब क्लाइमेक्स वाली फीलिंग थोड़ी सी कम हो तो फिर से शुरू करो और इस प्रोसेस को रिपीट करो। कुछ बार दोहराने के बाद स्खलन हो जाने दो।
साथ ही तुझे ये बता दूँ की ये काफी मज़ेदार प्रक्रिया है और साथ ही सेक्स की अवधि बढाने का बेजोड़ तरीका भी। इस एक्सरसाइज से तुम्हे स्खलन पर कण्ट्रोल करने में ज़रूर मदद मिलेगी। तो अगर तुम इस एक्सरसाइज को अपनाने के लिए तैयार हो तो तुम जितना चाहे अपने क्लाइमेक्स को डिले कर सकते हो, यानी चरम तक पहुचने की अवधि को बाधा सकते हो।
ट्रीटमेंट प्रोग्राम
अगर इस तरीके से भी बात ना बने तो भी मायूस होने की ज़रूरत नहीं है। सेक्स विशेषज्ञ की सलाह लेना कोई पाप नहीं है। इसमें कोई शर्म की बात नहीं है. जैसा की मैंने पहले कहा, ये एक आम समस्या है और इसीलिए इसके कई उपचार हैं। तुम बच्चों के ज़माने में टेक्नोलोजी ने काफी तरक्की कर ली है।
अभी कुछ दिन पहले मैंने एक इलेक्ट्रॉनिक उपकरण के बारे में पढ़ा था जो शीघ्रपतन के निवारण का बहुत कारगर तरीका साबित हो रहा है। इस मशीन का नाम 'प्रोलोंग' है। मेरी गिरती हुई याददाश्त के चलते मुझे सारी डिटेल्स तो याद नहीं लेकिन इसका कोई साइड इफ़ेक्ट नहीं है।
(आंटीजी के लिए सब कुछ यद् रखना चाहे संभव ना हो सका हो, लेकिन लव मैटर्स इस विषय पर जल्दी ही और जानकारी प्रकाशित करेंगे)
उसे प्लेज़र दो
एक और बात बेटाजी, अपनी साथी के प्लेज़र का ध्यान रखना बहुत ज़रूरी है। अन्तरंग प्यार के तरीके सम्भोग के अलावा भी हैं। सच तो ये है की केवल एक तिहाई महिलाएं ही सम्भोग के ज़रिये क्लाइमेक्स तक पहुँच पाती हैं। तो सिर्फ शारीर को सुख देने के लिए सिर्फ लिंग के इस्तेमाल तक ही सीमित मत रहो। अपनी जीभ, उँगलियों और कल्पनाओं की मदद भी लेनी चाहिए! उसे पूछो की उसे क्या पसंद है।
मुझे भरोसा है की सेक्स के हर पहलु को महसूस करके, स्टार्ट-स्टॉप टेक्नीक की मदद से तुम्हे ज़रूर फायदा होगा। मैं पहले कई बार कह चुकी हूँ की स्ट्रेस इन् सभी परेशानियों को और बढ़ावा देती है। तो मेरी सलाह है की आराम से रहो, दिमाग पर इन् छोटी बातों का दबाव मत डालो और जल्द ही सब ठीक हो जायेगा।
फोटो: Auntyji, thinqkreations
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