यह लेख लव मैटर्स के विश्व अभियान #stepIntoOurShoes का हिस्सा है जिसमें हमने अपने सहयोगी WGNRR के साथ मिलकर सुरक्षित और वैध गर्भपात की उपलब्धता को लेकर एक मुहिम की शुरुआत की हैI
वर्ल्ड हेल्थ आर्गेनाईजेशन के अनुसार भारत में होने वाले दो तिहाई गर्भपात अवैध और असुरक्षित तरीकों से या तो घर में किये जाते हैं या फ़िर गैर-कानूनी रूप से चल रहे दवाखानों में गैर पेशेवर लोगों के द्वारा। यही वजह है कि भारत में गर्भपात के दौरान हर साल 4600 महिलाओं की मृत्यु हो जाती है ( हर दो घंटे में एक महिला की मौत) और कइयों को ज़िन्दगी भर के लिए स्वास्थ्य संबंधी दुष्परिणाम झेलने पड़ते हैं। और यह हालात उस देश में है जहां गर्भपात ना सिर्फ़ वैध है बल्कि आसानी से मुहैया भी करवाया जा सकता है।
क्या करें…
- जल्दी फैसला लें
अगर आप को गर्भपात करवाने की ज़रुरत आन पड़ी है तो जितना हो सकें उतनी जल्दी कार्यवाही शुरू करें। आप किसी भी सामान्य डॉक्टर के पास जाकर उससे राय ले सकते हैं, वो आपको सही जानकारी ज़रूर देंगे। - अपने अधिकार जानें
भारतीय कानून के अनुसार एक महिला गर्भधारण के 20 हफ़्तों तक गर्भपात करवा सकती है, अगर - उस महिला की जान को कोई खतरा हो, उसे शारिरिक या मानसिक नुकसान पहुँचने की आशंका हो, उसका बलात्कार हुआ हो, या फ़िर उसके पास कोई सामाजिक और आर्थिक कारण हो।
इस प्रक्रिया में उसे अपने परिवार या साथी से भी कोई अनुमति लेने की ज़रुरत नहीं होती। कानून के अनुसार यह उसका अधिकार है। सरकार द्वारा प्राथमिक सेवा केन्द्रों में यह सेवाएं मुफ़्त में उपलब्ध होती हैं। निजी हस्पतालों में इसमें 2000 से लेकर 10000 तक का खर्च आ सकता है। - यह समझना कि गर्भपात सुरक्षित है
यहाँ यह समझना महत्त्वपूर्ण है कि गर्भपात बेहद सुरक्षित है। योग्यता प्राप्त डॉक्टर के द्वारा किया गया गर्भपात कई चिकित्सा प्रक्रियाओं से सुरक्षित माना जाता है। जटिलता होना किसी भी प्रक्रिया में संभव है लेकिन गर्भपात में ऐसा होने की संभावना 2 से लेकर 5 प्रतिशत तक होती है। - एक सुरक्षित स्थान ढूंढें
जैसा कि हमने पहले भी बताया है, सुरक्षित गर्भपात उसी को कहा जायेगा जो योग्यता प्राप्त डॉक्टर की देखरेख में आधुनिक तकनीकों की मदद से एक ऐसे क्लिनिक में किया गया हो जिसे सरकारी मान्यता प्राप्त हो। ऐसे किसी भी गर्भपात को जो इन मानदंडों पर खरा नहीं उतरता, को अवैध माना जायेगा और उसे ना करवाना ही बेहतर है। - जानिये कि क्या हो सकता है
गर्भपात किस तरह से किया जाएगा वो इस बात पर निर्भर करेगा कि गर्भवस्था का कौनसा महीना चल रहा हैI गर्भावस्था के पहले 12 हफ़्तों के दौरान आपका अपने डॉक्टर से राय लेना ज़रूरी हैI 12 से 20 हफ़्तों के बीच, कम से कम दो डॉक्टरों की राय अनिवार्य हैI
पहले 9 हफ़्तों के दौरान गर्भपात गोलियों के द्वारा और अगर आप चाहे और आपकी स्थिति अनुकूल हो तो सर्जरी के द्वारा भी करवाया जा सकता हैI गोलियां, गर्भपात का एक सुरक्षित और कारगर तरीका है जिसकी सफलता दर 95 प्रतिशत है I - बदलते नज़रिये में सहयोग दें
गर्भपात को एक कलंक समझना, इसकी वैधता को लेकर अनभिज्ञता और विस्तृत यौन शिक्षा का अभाव होना, कुछ महत्त्वपूर्ण कारण हैं जिनकी वजह से हमारे देश में इतने सारे असफल गर्भपात किये जाते हैं I अगर आप यौन स्वास्थ्य के बारे में खुल कर बात करें और अपनी जानकारी को बाकी लोगों से साझा करें तो एक तरह से आप गर्भपात से जुड़ी दकियानूसी सोच को बदलने में अपना सहयोग दे रहे हैं और लोगों तक यह बात पहुँचाने में मदद कर रहे हैं कि उनके पास गर्भपात के सुरक्षित और वैध विकल्प आसानी से उपलब्ध हैंI
यह लेख पहली बार 30 सितंबर, 2016 को प्रकाशित हुआ था।
कोई सवाल? नीचे टिप्पणी करें या हमारे चर्चा मंच पर विशेषज्ञों से पूछें। हमारा फेसबुक पेज चेक करना ना भूलें। हम Instagram, YouTube और Twitter पे भी हैं!