वीर्य: पांच मुख्य तथ्य

वीर्य - सुनने में किसी जादुई औषधि से कम नहीं लगता, हैं ना? देखा जाए तो कुछ मायनों में, है भी। यह सिर्फ़ पुरुषों के पास होता है और इसके बिना बच्चे नहीं पैदा किये जा सकतेI तो यह किस्से बना होता है? क्या इसे निगलना ठीक है? जानिये यह सब और बहुत कुछ हमारे आज के इस लेख मेंI
  1. यह किस काम आता है?
    इसमें कोई शक नहीं कि इसका मुख्य कार्य तो बच्चे पैदा करना ही हैI जब आप कंडोम के बिना योनि सेक्स करते हैं तो वीर्य में मौजूद छोटे-छोटे शुक्राणु (पुरुष प्रजनन कोशिकाएं) पिचकारी की फुहार की तरह योनि के अंदर पहुँच जाते हैंI वहां से वे गर्भाशय के माध्यम से फैलोपियन ट्यूब (डिम्बवाही नली) तक पहुँच जाते हैंI यह शुक्राणु महिला योनि के अंदर उन अंडो की तलाश में होते हैं जिन्हें वे उर्वर बना सकेंI अगर एक छोटे से छोटा शुक्राणु भी अंदर घुसकर अंडे को ढूंढ निकालता है तो भी उससे बच्चा हो सकता हैI

    वीर्य का उत्पादन अंडकोष में नहीं बल्कि पुरुष के अंदर मौजूद श्रोणि ग्रंथियों में होता है- अधिकतर कार्य उपजाऊ पुटिकाएं करती हैं, लेकिन इस मिश्रण में पुरस्थ ग्रंथि और बल्बोयूरेथ्रल ग्रंथियों (कूपर ग्रन्थयाँ- दो छोटी ग्रन्थियाँ जिसमें से एक-एक प्रोटेस्ट ग्रन्थि के दोनों ओर स्थित होती है) से निकला हुआ द्रव्य भी मिलता हैI देखा जाये तो अंडकोष सिर्फ़ भार बढ़ाने में अपना योगदान देता है क्योंकि शुक्राणु कुल सामग्री का केवल एक छोटा हिस्सा बनाता है।
    जब एक पुरुष को ओर्गास्म होता है तो उसकी प्रजनन प्रणाली की ट्यूब से होते हुए उसके लिंग में में से वीर्य की करीब पांच से दस फुहारें निकालती हैंI कुछ पुरुषों में यह एक झरने की तरह बाहर आता है तो कुछेक में बूँद-बूँद टपकता हैI लेकिन एक महिला के गर्भवती होने या ना होने से इस बात का कोई सम्बन्ध नहीं है कि लिंग में से वीर्य किस तरह से बाहर आया हैI

    कभी कभी नींद में ही पुरुषों का लिंग स्खलित हो जता है - इसे स्वप्नदोष कहते हैंI कुछ पुरुषों को बिना वीर्य के निकले भी ओर्गास्म का एहसास हो जाता हैI

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  2. क्या होता है इसके अंदर?
    चलिए शुरुआत इस बात से करते हैं कि यह दिखने में कैसा होता है- यह एक सफेद, भूरे या पीले रंग का तरल पदार्थ होता है जो जेली जैसा होता हैI यह गाढ़ा या पतला हो सकता है लेकिन इस बात का इसकी प्रजनन क्षमता से कोई लेना देना नहीं है क्योंकि वो कई और चीज़ों पर निर्भर करती है जैसे आपका खान-पान, व्यायाम और यहां तक ​​कि आप किस तरह के कपड़े पहनते हैं! अगर आपका वीर्य रंग में लाल या गुलाबी लग रहा है, तो हो सकता है कि आपके वीर्य में रक्त मिश्रित हो रहा होI इसलिए परामर्श के लिए आपको अपने डॉक्टर के पास ज़रूर जाना चाहिएI

    शुक्राणुओं के अलावा वीर्य में और भी सामग्री मौजूद होती हैI अच्छी मात्रा में प्रोटीन होने के साथ-साथ इसमें फ्रुक्टोज, क्रिएटिन, कैल्शियम, विटामिन सी, विटामिन बी 12, जस्ता और यहां तक ​​कि क्लोरीन भी शामिल है। क्योंकि योनि के अंदर वातावरण अम्लीय होता है इसलिए वीर्य प्राकृतिक रूप से क्षारीय होता है जिससे शुक्राणु ना घिसेI
  3. मात्रा और गुणवत्ता
    औसतन एक पुरुष स्खलन के समय 2-5 मिलीलीटर वीर्य का उत्पादन का उत्पादन करता हैI 5 मिलीलीटर का मतलब हो गया एक चाय का चम्मच भर। अगर आपने लंबे समय से स्खलन नहीं किया है तो उसकी मात्रा अधिक हो सकती है लेकिन अगर आप नियमित रूप से स्खलन कर रहे हैं तो शायद एक बार में इतनी अधिक मात्रा ना निकलेंI चिंता तभी करें जब इसकी मात्रा 1.5 मिलीलीटर से कम या 5.5 मिलीलीटर से ज़्यादा होI

    स्खलन के समय कितने शुक्राणु बाहर आते हैं? बहुत ज़्यादा! विश्‍व स्वास्थ्‍य संगटन के अनुसार उपयोगी होने के लिए लगभग 40 लाख शुक्राणुओं की जरूरत होती हैI लेकिन एक बार में दो से तीन करोड़ शुक्राणुओं का बाहर आना भी सामान्य है! अगर आपके पास पर्याप्त शुक्राणु हों तो भी प्रजनन के लिए उनका पूर्ण रूप से विकसित होना और अच्छा तैराक होना ज़रूरी है - यह भी सामान्य बात है कि स्खलन के समय लगभग 25 प्रतिशत शुक्राणु मरे हुए होते हैंI

    कुछ लोगों को लगता है कि स्खलन करने से आप में कमज़ोरी आती है इसलिए शुक्राणुओं को बचा कर रखना चाहिएI लेकिन, यह एक बहुत बड़ा मिथक हैI हो सकता है कि स्खलन के बाद आपको सुस्ती आ जाये और आपके टेस्टोस्टेरोन के स्तर में कमी हो लेकिन थोड़ी देर के बाद सब सामान्य हो जाता हैI  अगर आप चाहते हैं कि आपका वीर्य प्रजनन के लिए हमेशा अच्छी हालत में हो तो उसका नियमित स्खलन ज़रूरी हैI
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  4. खतरनाक रोग
    अपने अंदर मौजूद इन सभी गुणों और जीवन देने की क्षमताओं के बावजूद वीर्य के द्वारा एचआईवी / एड्स, क्लैमाइडिया, सूजाक, दाद, जेनिटल वार्ट्स (जननांग मस्से) और उपदंश जैसे कई यौन रोगों का संचार भी होता हैI एसटीडी या यौन संक्रामक रोग केवल योनि संभोग के माध्यम से ही नहीं बल्कि मुख मैथुन और गुदा मैथुन से भी फैल सकते हैंI और हाँ, सेक्स के बाद नहाने से भी आप यौन संक्रमण से बच नहीं पाएंगेI

    अगर आप यह निश्चित करना चाहते हैं कि आपको कभी भी कोई भी यौन संक्रमण ना हो तो उसका केवल एक ही रास्ता है- कि आप कभी भी सेक्स ना करेंI डरावना लगता है, है ना? लेकिन इसका एक बेहतर उपाय भी है - कि आप गर्भनिरोधकों का, जैसे कंडोम, का हमेशा प्रयोग करेंI

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  5. स्वादिष्ट और पौष्टिक
    क्या वीर्य को निगला जा सकता है? जी हां बिल्कुल। यह तो निश्चित है कि इससे आपका वज़न नहीं बढ़ेगाI बल्कि यह तो प्रोटीन और विटामिन से भरा होता है तो इससे आप स्वस्थ ही होंगे! अब आप इसको निगलने के लिए तैयार हैं या नहीं यह एक अलग मामला है - और इसका निर्णय आपको लेना हैI

    लेकिन अगर आप पुरुष हैं और चाहते हैं कि आपका वीर्य स्वादिष्ट हो जाए तो वो भी संभव हैI है ना मज़ेदार बात! आपके वीर्य का मीठा या खट्टा होना इस बात पर निर्भर करेगा कि आपने क्या खाया है और कहीं आपने मदिरापान या  धूम्रपान तो नहीं किया हैI अगर आप यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि आपका वीर्य स्वादिष्ट रहे तो एक स्वस्थ जीवन शैली और खान पान का पालन करेंI कुछ अध्ययनों से यह भी संकेत मिले हैं कि अनानास खाने से वीर्य का स्वाद मीठा होता हैI

गायत्री परमेस्वरन एक बहु-पुरस्कार विजेता लेखक, निर्देशक और इमर्सिव मीडिया कार्यों की निर्माता हैं। वह भारत में पैदा हुई और पली-बढ़ी और वर्तमान में बर्लिन में रहती है, जहां उन्होंने NowHere Media की सह-स्थापना की - एक कहानी सुनाने वाला स्टूडियो जो समकालीन मुद्दों को एक महत्वपूर्ण लेंस के माध्यम से देखता है। उन्होंने अपने शुरुआती वर्षों में लव मैटर्स वेबसाइट का संपादन भी किया। उनके बारे में यहाँ और जानें।